Saturday, July 28, 2018

15 अगस्त के लिए देशभक्ति शायरियां बिल्कुल नयी -part-5। -ARC Writings





15 अगस्त के लिए देशभक्ति शायरियां बिल्कुल नयी। 
न उजड़ने दूंगा तुझे फिर से,वतन ! खातिर बैठा हूं सरहद पर ,
ख्वाहिश नहीं आजमाइश है ,सर न झुकने दूँ तेरा हर कीमत पर !

खुशबू मेरी वतन की मिट्टी , हिंदुस्तान मेरी निशानी है ,
कर्ज है मुझ पर वतन का ,हर बार जान अपनी लुटानी है।


जीना ! वतन सलामती खातिर ,बेबजह न मरना सलामी खातिर ,
जब चाहे बुलाना वतन ,तेरे खातिर जिंदगीभर मेरी गुलामी हाजिर।

रखवाली तेरी वीरता से ,गंभीरता से है , तिरंगे उड़ जितना उड़ना ऊँचा है ,
कहां छोड़े वो ,मुँह छुपाने लायक भी ,जो हाथ सोचते , या झुकाने पहुंचा है। 


मुझे गद्दारी ना सिखा ,मेरा घर ,हाँ ! दर्द के बादलों के ही पास है ,
 रहने दे  नजदीक आजाद वतन के , दौलत तो दुश्मनों के भी पास है।

सीने में बहने दे नदियों सी देशभक्ति  ,खून मेरे वतन पर चढ़ा देना ,
वतन का नाम हो बुलंद,नींव मजबूत ,कुछ हिस्सा मेरा भी लगा देना।


कफन तिरंगा हो मेरा ,चाहत कुछ और अमीरों सी नहीं ,
न छूने देना कफन मेरा ,इरादे जिनके नेक वीरों से नहीं।


और अंत में ,
हिंदू-मुसलमान करना यहां पर, हरगिज़ नहीं ,
ना उपजे देशभक्ति दिल में, हिंदुस्तान में ऐसा बीज नहीं।
तू गद्दारों की टोली उगाता,तभी जगह तेरी बदनाम है ,
यह धरती है वीरों की ,यहां कहीं गाँधी है, कहीं कलाम है।

Thursday, July 12, 2018

पिता के ऊपर खूबसूरत कविता जो आपका दिल पिगला देगी।-ARC Writings



दोस्तों ! आपकी जानकारी के लिए बता दें कि आप जो पढ़ने जा रहे हैं या आपने जो इस चेनल पर पढ़ा है ,वह आपसे पहले किसी ने न तो पढ़ा है न ही देखा है। क्योंकि पहले मैंने खुद ही लिखा है।

 उम्मीद है !आपको पसंद आये मेरी लिखी हुई पंक्तियाँ।
(यह सारी की सारी लाइनें मैंने लिखी है।आप मेरे चैनल पर जाकर इनको चेक कर सकते हैं। )

पिता के ऊपर खूबसूरत कविता जो आपका दिल पिगला देगी।






हो रहा था मैं बड़ा, पैरों पे अपने , हो रहा था खड़ा ।
पर पता ही ना चला। कब, बनाने वाला हो रहा था बूढ़ा ।

 मुस्कुराने वाले मेरी गलतियों पर,मेरी कमियों को छुपाने वाले ,
भगवान , लिया क्यों छुपा, नहीं और यहां उनसा रास्ता बताने वाले।

खयाल था खुशियों का, समझाना उनका बेमिसाल था।
 डर से कभी ,डर जाता मैं, बहलाना दिल बड़ा कमाल था।


हूँ तो वैसे उनसे दूर , हैं अब वो कहाँ ,दिल मैं सवाल है।
हो सकता नहीं दूसरा पूछने वाला,कि  बेटा ! क्या हाल है।

 हंस के काटी गरीबी उन्होंने, हिस्से की रोटी अपनी बांटी।
बिन पैसे जीना ,बिन खुशी खुश रहना ,न सिखाई थी बर्वादी।

 चले जाना अचानक ,ये आपकी तो नहीं ,खुदा की गलत चाल है।
खुदा से पूछना था,बनाया ही क्यों हमको, आना ही जब अंत काल है।


शक नहीं,बस  याद नहीं,सिखाया होगा ,ऊँगली से चलवाना।
गिरते ही उठाया होगा, मुस्कुरा कर समझाया होगा,न फिर से गिरना।

बाहों में उठाना याद नहीं मुझे,पर हर ठोकर पर उठाया होगा ,
फिर से न गिर जाऊँ कहीं ,सद के चलना भी सिखाया होगा।

न सिखाई ,सीनाजोरी ,न चोरी , चतुराई बस सिखाई होगी ।
  चोट लगी होगी गलती से मेरी , जान के अपनी,खुद ही सहलाई होगी।


आ गया खुद से रोना, सिखाया आप ने था मुस्कुराना।
खुद रहते थे परवाने से,सिखाया था मुझे चिराग जलाना ।

और अंत मैं ,


“पापा आपसे लगाव है ,
            तभी पसरा तनाव है ।
 वरना दर्द दे मुझे ,
कहां , जहां में ऐसा घाव है ।“

जिक्र मेरे दर्द का है ,ना समझना प्यार की उम्मीद है ।
लोग कहते वह गुजर गए,जिंदा रखना मेरी ज़िद है ।

 खाना खिलाना-बनवाना सिखाया ,खुद खाना भूल गए।
बनाके काबिल,भेज दिया मंजिल को , खुद आना भूल गए ।

याद है ,कमाना दौलत दान के लिए ,
        रखना खुले दरवाजे,हर इंसान के लिए |

Tuesday, July 10, 2018

जिंदगी में जोश लाने के लिए जोश भरी शायरियां-01।-ARC writings


 जिंदगी में जोश लाने के लिए जोश भरी शायरियां। 




                अगर जिंदगी में आपके निराशा भरी पड़ी है तो यह post  आपके लिए प्रेणादायक साबित हो  सकती है। और आपको अपने लक्ष्य को पाने में मदद भी कर सकती है। इसमें कुछ ऐसे शब्द लिखे गए हैं जो जो आपके अंदर बहुत ही जोश भर देंगे। आप का साहस बढ़ा देंगे। और आप अपने लक्ष्य की ओर तेजी से बढ़ेंगे। उम्मीद है यह post आपको अच्छी लगेगी। इस post  में आप को प्रेरणा मिलेगी कि अच्छे कामों से ही सफलता मिलती है ,जो कि हमेशा आपका साथ देती है। इसलिए सफल व्यक्तियों को हमेशा कुछ ना कुछ असफल व्यक्तियों से सीखना चाहिए। इस post में सफलता पाने के लिए जो  जज्बा एक इंसान के अंदर होना चाहिए वो यहाँ पर शायरी के रूप में मैंने बताने की कोशिश की है। आपको यह post में प्रेणादायक ,जोशिली शायरी के सहारे बताया गया है कि आप कैसे अपने अंदर एक सकरात्मक ऊर्जा उत्पन्न कर सकते हैं।  यह शायरी, छात्रों को भी प्रेरित कर सकती हैं उनको अपनी पढ़ाई पर ध्यान देने के लिए और कुछ बनने के लिए। ये जोश भरी शायरियां आपके अंदर कुछ बड़ा और अच्छा करने की प्रेरणा देंगी।आप खुद ही मेरे लिए एक प्रेरणा का स्रोत हो। 



बन जा रस्सी सा ,पत्थर दिलों पर इतना घिस कि  निशान बना दे,
मौका ,जीवन एक ही,आखिरी  में कुछ कर हंस के ,महान बना दे।

है तु बीज , निकलेगा बनके पेड़,पर मिट्टी से मिल तो जाके, वक्त से,
नाम जागीर नहीं,तो घबरा नहीं,मौका है रंग दे दीवारें ,खुद के रक्त से।

गिरते ही  टूट जाएगा,तू कांच  नहीं,जो फिर जुड़ेगा नहीं ,
मिल ही जाएगी मंजिल ,गिरते पड़ते ,पीछे गर मुड़ेगा नहीं।

मंजिल छू लेगा जब तू , भूल जाएगा जमाना तेरा डगमगाना ,
गर इरादा है रुकने का , सीख लेमजाक खुद का बनाना या बहाना। 

भले है तू आसमान में ,अकेला तारा ,न सोच नज़र से छूट रहा है ,
घिस के ,साथ चमक निकलेगा घर से,कहेंगे लोग ,तारा टूट रहा है।

यकीन कर ,छोड़ जवानी ,आँख का पानी ,काबू कर सकता तू ,सारा नजराना ,
न भटक बे-वजह ,जानता तू कौख से ,कहाँ से निकल के, है तुझे- यारा जाना।

तेरी मंजिल का मालिक, जो आज है,उसे कल नीचे उतर या गुजर जाना है,
सीख यही सीख ले,उसके उतरने या गुजरने पर, कैसे? खुद वहां ठहर जाना है।

खुद से ही चबाने हैं चने , ना सोच, कोई तेज तुजसे , तरस खाएगा,
तू घर से निकल, बिना फिकर धूप की,पसीना ही बन पारस बरस जायेगा।

जीत खेल में.. छल से  नहीं,  तय होती है  छलांग से,
चमकना है जीत के,तो सीख ले,पहले खेलना आग से।
  

और अंत में,
 अपनों से जुड़े सपने ,हमेशा पूरे होते हैं,
 दुश्मनों से जुड़े अपने, हमेशा अधूरे होते हैं,
 वक्त मिले तो सीखना दुश्मनों से भी ,
कुछ पत्थर दिल ,तो कुछ हीरे होते हैं।


दोस्तों ! आपकी जानकारी के लिए बता दें कि आप जो पढ़ने जा रहे हैं या आपने जो इस चेनल पर पढ़ा है ,वह आपसे पहले किसी ने न तो पढ़ा है न ही देखा है। क्योंकि पहले मैंने खुद ही लिखा है।

 उम्मीद है !आपको पसंद आये मेरी लिखी हुई पंक्तियाँ।यह सारी की सारी लाइनें मैंने लिखी है।आप मेरे चैनल पर जाकर इनको चेक कर सकते हैं। 
Written by -SoKC

Happy Friendship shayari-02 ARC Writings


Happy Friendship shayari-02 ARC Writings 



दोस्तों ! आपकी जानकारी के लिए बता दें कि आप जो पढ़ने जा रहे हैं या आपने जो इस चेनल पर पढ़ा है ,वह आपसे पहले किसी ने न तो पढ़ा है न ही देखा है। क्योंकि पहले मैंने खुद ही लिखा है।
 उम्मीद है !आपको पसंद आये मेरी लिखी हुई पंक्तियाँ।

खुल के निहार ले ,ना मुस्कुरा मेरी चाल देख कर ,
कदम बहक गए हैं दोस्त तेरा हाल देख कर ,
भुला नहीं मैं साथ खेलना तेरे ,वो बचपन का ,
फिर से खेलें ,संकोच न कर, बाल सफेद देख कर।

अरसे लगेंगे बताने में,इसलिए लिख कर विवरण दूंगा ,
मैं तेरा दोस्त क्यों हूं ,दोबारा मिला तो हर कारण दूंगा ,
तुझे भूलना है तो भूल जा ,वजह बे-वजह से ही सही ,
याद है मुझे तेरी याद  ,फिर से  स्मरण करूंगा।  


जमाना गुजरा ,वक्त गुजरा ,याद न किया  खटकता है,
लोग नहीं,मगर दिल चिढ़ाता,तेरा दोस्त पर्यटक सा है,
तुमने सीखा दिमाग लगाना ,मैंने दिल लगाना सीखा ,
वजह यही है ,तेरा दिमाग चलता ,दिल मेरा भटकता है।

भूल गया ,खबर भी ना रखी ,तू कह भी ना पाये कल
तभी तेरी जासूसी में ,लगा रखा है अपने हर पल को ,
 चाहो मिलना ,बोल कर ही आना ,चुपचाप से नहीं ,
तू दोस्त ,है मेरा !भारी पड़ ना जाये , जानकर दिल को।


तेरी हर याद को ,मैंने बिना मुस्कुराए छुआ भी नहीं ,
हर बाजी पलट दूं तेरे लिए ,भले न खेला जुआ भी नहीं ,
कभी प्यास लगे मोहब्बत की ,समैट लाऊंगा बादलों को,
सोचता रहेगा ,न मौसम बारिश का और पास कुआ भी नहीं।


और अंत में,
मिलना-जुलना जब आसान था, तेरा कहीं और ध्यान था ,
उपर क्या चढ़ा थोड़ा सा तुझसे, सुना कहते अच्छा इंसान था,
जलन कहते लोग उसे ,है मुझे पता ,वह सम्मान था ,
मिलना फुर्सत मिले तो, वह तुम हो दोस्त जिस पर अभिमान था।

HAPPY FRIENDSHIP DAY IN ADVANCE-
Written by-SoKC


Saturday, July 7, 2018

देशभक्ति शायरी स्वतंत्रता दिवस पर नौजवानों के लिए-02 ARC Writings



        ये  शायरी मैंने अपने देश के नौजवानों को जो कि अपना रास्ता भटक गए हैं उनको सही रास्ते पर लाने के लिए लिखी है ताकि वह अपने देश की उन्नति में अपना हाथ बडायें और अपने देश का सम्मान करें। अपने देश की इज्जत का ख्याल रखें, उसे बढ़ाते रहें खेलकर या पढ़ कर या कुछ अच्छा करके क्योंकि अपने देश से अच्छा कुछ भी नहीं है|

१-ना वो देशभक्ति जाती है,जवान तो हैं पर रहना चौड़ी छाती ,
देश भक्ति करनी नहीं और ना ही दुश्मन दुश्मन बनने पर है राजी,
 कैसे कहूं सब को देशद्रोही जान लो जिसकी है चालाकी ,
हिंट दूँ   तो मिलेगा, एक -दो  जयचंद,एक -दो काजी।

२-खेत हरा हो तो कट जाता है, कट जाती है पीली सरसों,
अगर  घर होता है रंगबिरंगा बाग़ सातो चलता है बरसों,
ढका था  केसरिया, फिर हरा, बाद में  सफेद तो परसों,
ना पाया ,जब ढूंढा खुद को ,मंदिर ,चर्च ,गुरुद्वारा, मदरसों।

३-इंसान यह तेरी जरूरत है या नाटक ,या क्या कहूं हुडदंग,
करता है तू, फिर क्यों हो जाते हैं मेरे अंग भंग,
काटा था सोचकर, होगी एक तरफ अजान ,दूसरी तरफ भजन सत्संग,
 भजन सत्संग तो दूर ,नादान मां से ही कर बैठा  जंग.

४-अहिंसा के पुजारी, एक बात थी मेरे मन में ,
नहीं देखना था खून ,तो रह जाते कटे वतन  में,
 रह जाते  उधर तो, जानते अंतर वो दोस्त और दुश्मन में,
 शायद उनको भी महसूस होता गर्व ,कहने , जन गण मन में.




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written by-SoKC 

Friday, July 6, 2018

शायरी जोश भरने के लिए-Inspirational shayari-03-ARC Writings


शायरी जोश भरने के लिए-Inspirational shayari-03 ARC Writings-


  • बन जा रस्सी सा ,पत्थर दिलों पर इतना घिस कि  निशान बना दे,
  • मौका ,जीवन एक ही,आखिरी  में कुछ कर हंस के ,महान बना दे।

  • है तु बीज , निकलेगा बनके पेड़,पर मिट्टी से मिल तो जाके, वक्त से,
  • नाम जागीर नहीं,तो घबरा नहीं,मौका है रंग दे दीवारें ,खुद के रक्त से।

  • गिरते ही  टूट जाएगा,तू कांच  नहीं,जो फिर जुड़ेगा नहीं ,
  • मिल ही जाएगी मंजिल ,गिरते पड़ते ,पीछे गर मुड़ेगा नहीं।

  • मंजिल छू लेगा जब तू , भूल जाएगा जमाना तेरा डगमगाना ,
  • गर इरादा है रुकने का , सीख लेमजाक खुद का बनाना या बहाना। 

  • भले है तू आसमान में ,अकेला तारा ,न सोच नज़र से छूट रहा है ,
  • घिस के ,साथ चमक निकलेगा घर से,कहेंगे लोग ,तारा टूट रहा है।

  • यकीन कर ,छोड़ जवानी ,आँख का पानी ,काबू कर सकता तू ,सारा नजराना ,
  • न भटक बे-वजह ,जानता तू कौख से ,कहाँ से निकल के, है तुझे- यारा जाना।

  • तेरी मंजिल का मालिक, जो आज है,उसे कल नीचे उतर या गुजर जाना है,
  • सीख यही सीख ले,उसके उतरने या गुजरने पर, कैसे? खुद वहां ठहर जाना है।

  • खुद से ही चबाने हैं चने , ना सोच, कोई तेज तुजसे , तरस खाएगा,
  • तू घर से निकल, बिना फिकर धूप की,पसीना ही बन पारस बरस जायेगा।

  • जीत खेल में.. छल से  नहीं,  तय होती है  छलांग से,
  • चमकना है जीत के,तो सीख ले,पहले खेलना आग से।
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written by -SoKC
और अंत में,
 अपनों से जुड़े सपने ,हमेशा पूरे होते हैं,
 दुश्मनों से जुड़े अपने, हमेशा अधूरे होते हैं,
 वक्त मिले तो सीखना दुश्मनों से भी ,
कुछ पत्थर दिल ,तो कुछ हीरे होते हैं।



Happy friendship shayari status-दोस्ती पर शायरी -01-ARC Writings


Happy friendship shayari status-दोस्ती पर शायरी -01-ARC Writings
 बात नहीं कर पाता, तो क्या ! खुदा से पहले ,तुम पर मेरी नजर है,
दोस्त ! मुलाकात करते, हर किस्सा सुनाते, बस ! तेरे वक्त की कदर है। 
दोस्त ! साथ अगर तुम हो  ,कारण क्यों पूछते हो मुस्कुराने का,
तू है, तो बेफिक्र मैं ! हार गए केस, अब तो दर्द भी  रुलाने का।  

तुझे ढूंढा नहीं ,तो भुला भी नहीं ! पूछना , गवाह ! तेरी गली-तेरा शहर है ,
दोस्त ! मुलाकात करते, हर किस्सा सुनाते, बस ! तेरे वक्त की कदर है।

 मिलने के पूछता खुदा से रास्ते ! खुदा के ही पास ,वक्त बचा नहीं,
न समझना खुदा के वास्ते ! तुझसे मिलने की ,आस या इच्छा नहीं।

कहीं तू  बोर ना हो जाए ! पास मेरे-सिवा तेरे, ना कोई मस्त खबर है,
दोस्त ! मुलाकात करते, हर किस्सा सुनाते, बस ! तेरे वक्त की कदर है।

और अंत में,
गर आये ,आपदा ,विपत्ति, कठिनाई , रुकावट या बाधा रास्ते में ,
दरवाजा मेरा बेझिझक खट-खटाना ! जी रहा दोस्त तेरे ही वास्ते मैं।
WRITTEN BY-SoKC

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मैं सो रहा हूं, तुम जगाना मत ! Hindi poem -ARC WRITINGS

मैं सो रहा हूं, तुम जगाना मत !  नींद में , खुशी खोज रहा , गम मांगना मत , मैं सो रहा हूं , तुम जागना मत , मिलेंगे सपनों में , तु...